झारखंड चुनाव से पहले मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने लिखी PM मोदी को चिट्ठी, सियासी गलियारों में चर्चा शुरू
- हेमंत सोरेन ने पीएम मोदी से की राज्य के 1 लाख 36 हजार करोड़ रुपये की मांग
- झारखंडियों का हक मांगने पर जेल में डाल दिया जाता है: हेमंत सोरेन
- झारखंड के लोग अपने अधिकारों के लिए लड़ेंगे: सीएम सोरेन
रांची: झारखंड में इस साल के आखिर में विधानसभा चुनाव होना है। चुनाव में अब कुछ वक्त का ही समय बचा है। चुनाव को लेकर भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और सत्ताधारी पार्टी झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) सहित सभी पार्टियों ने अपनी तैयारी शुरू कर दी हैं। इस बीच राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक चिट्ठी लिख दी है। इस चिट्ठी के जरिए सीएम हेमंत सोरेन ने राज्य के लिए पीएम मोदी से बड़ी मांग कर दी है।
- हेमंत सोरेन की पीएम मोदी को लिखी चिट्ठी में क्या?
सीएम सोरेन ने पीएम मोदी को जो चिट्ठी लिखी है, उसमें उन्होंने अपने बकाया 1 लाख 36 हज़ार करोड़ की मांग की है, ताकि वे इस पैसे से झारखंड को विकास के नए पथ पर ले जा सके। इस पत्र को उन्होंने अपने सोशल मीडिया पर भी शेयर किया है। वहीं यह पत्र राजनितिक गलियारों में चर्चा का विषय बना हुआ है। हेमंत सोरेन ने अपनी चिट्ठी में लिखा- ‘झारखंडियों का हक मांगो तो जेल डाल देते हैं, पर अपने हक के लिए हर कुर्बानी मंजूर है। हम भाजपा के सहयोगी राज्यों की तरह स्पेशल स्टेटस नहीं मांग रहे, ना ही हम कुछ राज्यों की तरह केंद्रीय बजट का बड़ा हिस्सा मांग रहे हैं। हमें बस हमारा हक दे दीजिए, यही मांग है।’
- हमारी मांग सिर्फ न्याय की, विशेषाधिकार की नहीं: हेमंत सोरेन
हेमंत सोरेन ने आगे लिखा है- ‘हमारी मांग सिर्फ न्याय की है, विशेषाधिकार की नहीं। झारखंड के लोगों ने अपने राज्य के लिए लंबा संघर्ष किया है। अब हम चाहते हैं कि हमारे संसाधनों एवं अधिकारों का उचित उपयोग हो। हम अपने बकाये के 1 लाख 36 हज़ार करोड़ से झारखंड को विकास के नए पथ पर ले जाएंगे। ऐसा विकास जो हमारे पर्यावरण, आदिवासी/मूलवासी एवं हर एक झारखंडी समुदायों के हितों की रक्षा करे। हम शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार करेंगे, ताकि हमारे बच्चों का भविष्य उज्ज्वल हो सके। हम अपनी भाषा और संस्कृति का और बेहतर संरक्षण करेंगे, ताकि हमारी पहचान बनी रहे, साथ ही हम हमारे युवाओं को रोजगार के नए आयाम उपलब्ध कराएंगे। और उसके आभाव में उन्हें उचित भत्ता देंगे।’
- झारखंड के विकास में बाधा न बने केंद्र, बल्कि सहयोगी बने: सीएम सोरेन
मुख्यमंत्री ने आगे लिखा- ‘हमारे हक पर, हमारे पैसों पर केंद्र सरकार जल्द फैसला ले और झारखंड के विकास में बाधा न बने, बल्कि सहयोगी बने। हम अपने अधिकारों के लिए लड़ेंगे, चाहे इसके लिए कितनी भी कठिनाइयों का सामना करना पड़े। झारखंड की धरती पर जन्मे हर व्यक्ति का यह कर्तव्य है कि वह अपने राज्य के हितों की रक्षा करे। हम एकजुट होकर अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाएंगे, लड़ेंगे और अपना हक अपने पुरखों की तरह लेकर रहेंगे।’