शहादत दिवस पर याद किए गए भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव
कोडरमा, 23 मार्च । शहीदे आजम भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव की 95 वें शहादत दिवस पर डीवाईएफआई, सीटू और किसान सभा के बैनर तले अम्बेडकर पार्क में विचार गोष्ठी आयोजित किया गया।
सर्व प्रथम शहीदों के चित्र पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित किया गया, जहां शहीद भगत सिंह राजगुरु सुखदेव अमर रहे, इन्कलाब जिन्दाबाद, साम्राज्यवाद मुर्दाबाद, शहीदों ले लो लाल सलाम आदि जोशीले नारे लगाए जा रहे थे।
सीटू के जिला सचिव रमेश प्रजापति की अध्यक्षता में हुई गोष्ठी को सीटू के राज्य सचिव संजय पासवान और झारखंड राज्य किसान सभा के संयुक्त सचिव असीम सरकार ने संबोधित किया।
वक्ताओं ने कहा कि शहादत केवल बलिदान नहीं, विचारों की विरासत होती है। भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव का सपना था कि एक ऐसा भारत जहाँ राष्ट्रवाद बांटने का नहीं, जोड़ने का हो, समाजवाद केवल नारा नहीं, बराबरी की नींव हो, धर्मनिरपेक्षता केवल सहिष्णुता नहीं, सांप्रदायिकता के ख़िलाफ़ प्रतिरोध हो। आज देश की सत्ता पर ऐसी सरकार का कब्जा है, जो पूंजीवाद के हित में और सांप्रदायिक और जनविरोधी है। महंगाई की मार से आम जनता कराह रही है, दूसरी तरफ पूंजीपतियों का मुनाफा लगातार बढ़ रहा है। सरकारी सम्पत्तियों को औने पौने दामों पर चहेते पूंजीपतियों को बेचा जा रहा है। नई शिक्षा नीति से भारत के बहुसंख्यक गरीब मध्यम वर्ग के छात्र उच्च शिक्षा से दूर हो रहे हैं।
नौजवान बेरोजगारी की चक्की में पीसे जा रहे हैं।
वक्ताओं ने किसान मजदूरों और छात्र युवाओं से आह्वान करते हुए कहा कि एक नये भारत के निर्माण और शोषण मुक्त समाज की स्थापना के लिए भगत सिंह के रास्ते पर चलते हुए एक नयी क्रांति का आगाज करें। कार्यक्रम में सीटू के महेन्द्र तुरी, फेकुलाल विद्यार्थी, सियाराम, डीवाईएफआई बासुदेव साव, शम्भु कुमार, किसान सभा के बाबूलाल साव, सरयु दास, प्रमोद कुमार, पंकज कुमार, रौशन कुमार, चंदन कुमार, अजय कुमार दास, जितेन्द्र कुमार, पवन कुमार, विक्की कुमार सहित अन्य शामिल थे।