इस्लाम के आक्रमण और ईसाइयों की दमनकारी नीति के कारण हुई भारतीय संस्कृति की क्षति : मिलिंद परांडे
रांची, 09 जून । विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने कहा कि इस्लाम के क्रूर आक्रमण और ईसाई की दमनकारी नीति के कारण भारतीय संस्कृति की क्षति हुई है। हिंदू समुदाय के सम्मुख अनेक प्रकार की चुनौतियां हैं, जिसके लिए समाज के हर वर्ग को संगठित रूप में सामना करना होगा। उन्होंने कहा विगत 1000 वर्ष के संघर्ष में हिंदू समाज की व्यवस्था तहस-नहस हो गई। अक्रांताओं के आक्रमण का निरंतर सामना करना पड़ा। परांडे शुक्रवार को रांची के धुर्वा स्थित सरस्वती विद्या मंदिर स्कूल में विहिप की महिला इकाई दुर्गा वाहिनी एवं मातृशक्ति के सात दिवसीय प्रशिक्षण वर्ग के समापन में बोल रहे थे।
उन्होंने कहा कि आज के भारतीय अपने पराक्रम एवं शौर्य को भूल गए हैं कि कभी हम विश्व के परम वैभवशाली देश के नागरिक थे। संपूर्ण विश्व को शिक्षा एवं स्वालंबन का पाठ पढ़ाते थे। हमारे प्रत्येक गांव में गुरुकुल के माध्यम से शिक्षा की व्यवस्था थी। काल खंड में वामपंथी इतिहासकारों ने हमारे समृद्ध शिक्षा प्रणाली को नकारते हुए मैकाले शिक्षा पद्धति को बढ़ावा दिया, जो इस देश के लिए दुर्भाग्य का कारण बना।
उन्होंने कहा कि धर्मांतरण, लवजिहाद, घुसपैठ जैसे षड्यंत्रकारी नीति के कारण आज झारखंड सहित देश के आंतरिक सुरक्षा का संकट बढ़ता चला जा रहा है। उन्होंने कहा 1984 में श्रीरामजन्मभूमि आंदोलन को लेकर बजरंग दल एवं दुर्गा वाहिनी का स्थापना की गई थी। आज सभी युवा भाई- बहनों को स्वयं के साथ परिवार की रक्षा के लिए स्वयं को मजबूत बनाना होगा। कार्यक्रम में विहिप के क्षेत्र संगठन मंत्री आनंद पांडेय, प्रांत मंत्री डॉ वीरेंद्र साहू, प्रांत संगठन मंत्री देवी सिंह, प्रांत सहमंत्री मनोज पोद्दार, प्रांत सहमंत्री रंगनाथ महतो, सामाजिक समरसता प्रमुख मिथिलेश्वर मिश्रा सहित अन्य कई कार्यकर्ता मौजूद थे।
हिन्दुस्थान समाचार