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पैतृक गांव उलिहातू में मंगल मुंडा का हुआ अंतिम संस्कार, अर्जुन मुंडा ने दी श्रद्धांजलि

खूंटी, 29 नवंबर । भगवान बिरसा मुंडा के वंशज मंगल मुंडा का इलाज के दौरान रिम्स में गुरुवार की देर रात निधन हो गया। उनका पार्थिव शरीर शुक्रवार को उनके पैतृक गांव खूंटी के उलिहतू ले जाया गया, जहां खूंटी जिला प्रशासन की ओर से उप विकास आयुक्त सह प्रभारी उपायुक्त श्याम नारायण राम ने पार्थिव शरीर पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। बाद में सरना रिति-रिवाज के अनुसार उन्हें दफनाया गया।

उल्लेखनीय है कि मंगल मुंडा 25 नवंबर को सड़क दुर्घटना में गभीर रूप से घायल हो गये थे। उनका इलाज रिम्स में चल रहा था। खूंटी के उपायुक्त लाकेश मिश्रा की पहल पर खूंटी के सिविल सर्जन डॉ नागेश्वर मांझी के नेतृत्व में चिकित्सकों की एक टीम भी रिम्स गई थी। उपचार के दौरान गुरुवार की देर रात मंगल मुंडा का निधन हो गया।

मंगल मुंडा के निधन की सूचना मिलने पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पुष्प-चक्र अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी। मुख्यमंत्री ने शोक संतप्त परिजनों से मुलाकात कर गहरी संवेदना प्रकट करते हुए उन्हें सांत्वना दी। मुख्यमंत्री ने दिवंगत मंगल मुंडा के परिजनों को राज्य सरकार के स्तर से हर संभव मदद का भरोसा दिया।

अर्जुन मुंडा, खूंटी के दोनों विधायकों और पूर्व विधायकों ने दी श्रद्धांजलि

मंगल मुडा के निधन की सूचना मिलने के बाद शुक्रवार की शाम पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, तोरपा के विधायक सुदीप गुड़िया, खूंटी के विधायक राम सूर्या मुंडा, खूंटी के पूर्व विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा और तोरपा के पूर्व विधायक कोचे मुंडा सहित विभिन्न राजनीतिक और सामाजिक संगठनों के लोग उलिहातू पहुंचे और और मंगल मुंडा के पार्थिव शरीर पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।

समय से इलाज होता, तो नहीं जाती मंगल मुंडा की जान : अर्जुन मुंडा

भगवान बिरसा मुंडा के वंशज मंगल मुंडा के निधान पर गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि मंगल मुंडा का निधन पूरे झारखंड के लिए दुःख का विषय है। उन्होंने कहा कि सड़क दुघटनाम में घायल होने के बाद जग मंगल मुंडा कोरिम्स ले जाया गया, तो किसी ने उनकी सुधि नहीं ली। वे रात भर घायल अवस्था में एंबुलेंस में ही पड़े रहे।

अर्जुन मुंडा ने कहा कि जब उन्हें सूचना मिली, तो उन्होंने रिम्स के अधिकारियों से बात कर उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया। अर्जुन मुंडा ने कहा कि एक शहीद परिवार के वंशज के साथ इस तरह का व्यवहार स्वास्थ्य व्यवस्था पर बड़ा सवाल करता है। उन्होंने कहा कि भविष्य में और किसी के साथ ऐसा न हो, इस पर सरकार को ध्यान देने की आवश्कता है।

पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि अगर समय पर मंगल मुंडा का इलाज इलाज हो जाता, तो उनकी जान बच सकती थी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को स्वास्थ्य व्यवस्था पर संवेदनशील होना चाहिए।

कड़िया मुंडा सहित कई लोगों ने जताई संवेदना

मंगल मुंडा के निधन पर लोकसभा के पूर्व उपाध्यक्ष पद्मभूषण कड़िया मुंडा ने कहा कि यह बहुत ही दुखद है। उन्होंने कहा कि जब मंगल मुंडा रिम्स में इलाजरत थे, उसी समय कड़िया मुंडा ने सलाह दी थी कि मंगल को बेहतर इलाज के लिए किसी बड़े संस्थान में ले जाना चाहिए, पर न तो रिम्स प्रबंधन ने और न ही राज्य सरकार ने उनकी बात सुनी। कड़िया मुंडा ने कहा कि जीवन और मौत तो ऊपर वाले के हाथ में है, पर यदि मंगल मुंडा को दिल्ली या अन्य किसी बड़े अस्पताल में भती कराया जाता, तो शायद उनकी जान बच जाती।

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