सिक्किम@50: प्रधानमंत्री मोदी ने कहा- राज्य की प्रगति बन रही देश का गौरव
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि 50 वर्ष पहले सिक्किम ने लोकतांत्रिक भविष्य चुना था और यह प्रदेश देश की आत्मा से जुड़ गया। आज देश सिक्किम की प्रगति का साक्षी है और अब जैव विविधता, सांस्कृतिक समृद्धि और शत-प्रतिशत ऑर्गेनिक राज्य के रूप में यह राज्य देश का गौरव बन चुका है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज वर्चुअल माध्यम से ‘सिक्किम@50’ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए एकजुटता, संतुलित विकास और पूर्वोत्तर के सशक्तिकरण का संदेश दिया। ‘जहां प्रगति मिलती है उद्देश्य से और प्रकृति करती है विकास का पोषण’ विषय पर आधारित यह कार्यक्रम सिक्किम के राज्य बनने के 50 वर्ष पूरे होने के अवसर पर आयोजित हुआ।
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में पहलगाम का भी जिक्र किया और कहा कि पर्यटकों पर हुआ आतंकी हमला सिर्फ भारतीयों पर नहीं, बल्कि मानवता की आत्मा और भाईचारे की भावना पर हमला था। यह हमारे सांस्कृतिक एकता और सामाजिक तानेबाने को तोड़ने की साजिश थी। आतंकियों ने मासूम परिवारों की खुशियाँ छीनीं, लेकिन भारत ने एकजुट होकर जवाब दिया। ऑपरेशन सिंदूर के ज़रिए हमने न सिर्फ आतंकियों को सबक सिखाया, बल्कि पूरी दुनिया को अपनी सटीक और तेज़ कार्रवाई की क्षमता भी दिखाई।
प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रीय विकास के संदर्भ में ‘सबका साथ, सबका विकास’ सिद्धांत को दोहराते हुए कहा कि समग्र भारत के विकास के लिए पूर्वोत्तर का सशक्तिकरण अनिवार्य है। उन्होंने बताया कि हाल ही में दिल्ली में आयोजित नॉर्थ-ईस्ट इन्वेस्टमेंट समिट में कई बड़े निवेशकों ने भाग लिया और सिक्किम सहित पूरे क्षेत्र में निवेश की घोषणा की।
सिक्किम और पूर्वोत्तर की कनेक्टिविटी को लेकर प्रधानमंत्री ने बताया कि पिछले एक दशक में राज्य में 400 किलोमीटर से अधिक नेशनल हाईवे बने हैं। अटल सेतु, बागडोगरा-गंगटोक एक्सप्रेस-वे और सेवोक-रंगपो रेललाइन जैसे प्रोजेक्ट्स राज्य को बाकी देश से जोड़ने में मील का पत्थर साबित होंगे।
प्रधानमंत्री ने कहा कि जहां सड़कें नहीं बन सकतीं, वहां रोपवे बन रहे हैं। उन्होंने आज उद्घाटित कई रोपवे परियोजनाओं का उल्लेख किया। उन्होंने 500 बिस्तरों वाले अस्पताल का शिलान्यास भी किया, जिससे गरीब और वृद्ध नागरिकों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं मिलेंगी।
प्रधानमंत्री ने सिक्किम के किसानों की सराहना करते हुए कहा कि राज्य ऑर्गेनिक कृषि के क्षेत्र में भारत का नेतृत्व कर रहा है। हाल ही में सिक्किम की प्रसिद्ध ‘दल्ले खुरसानी’ मिर्च का निर्यात हुआ है। उन्होंने घोषणा की कि सोरेंग जिले में देश का पहला ऑर्गेनिक फिशरीज क्लस्टर बनाया जा रहा है, जिससे युवाओं को मत्स्य पालन में नए अवसर मिलेंगे।
प्रधानमंत्री ने सिक्किम को एक वैश्विक पर्यटन गंतव्य बनाने की आवश्यकता पर बल दिया। कंचनजंघा नेशनल पार्क, बौद्ध मठ, झीलें, झरने और शांत वातावरण को वैश्विक स्तर पर प्रस्तुत करने की बात कही। उन्होंने गोल्डन जुबली कन्वेंशन सेंटर और स्काईवॉक जैसी परियोजनाओं को भविष्य के पर्यटन केंद्रों के रूप में बताया।
प्रधानमंत्री ने कहा कि सिक्किम को एडवेंचर, वेलनेस, म्यूजिक और कॉन्फ्रेंस टूरिज्म का केंद्र बनाया जाएगा। साथ ही उन्होंने पूर्वोत्तर में आयोजित जी-20 बैठकों को अंतरराष्ट्रीय मंच पर क्षेत्र की क्षमता दिखाने का प्रयास बताया।
प्रधानमंत्री ने सिक्किम के खिलाड़ियों जैसे बाइचुंग भूटिया और तरुणदीप राय का उल्लेख करते हुए कहा कि हर गांव से एक नया चैंपियन निकलना चाहिए। उन्होंने गंगटोक में नए खेल परिसर की सराहना की और कहा कि ‘खेलो इंडिया’ योजना के अंतर्गत सिक्किम को विशेष समर्थन मिल रहा है।
प्रधानमंत्री मोदी ने सिक्किम को ‘ग्रीन मॉडल स्टेट’ बनाने के लक्ष्य की घोषणा की। उन्होंने हर घर को सौर ऊर्जा से रोशन करने, डिजिटल लेन-देन को बढ़ावा देने और ‘वेस्ट टू वेल्थ’ जैसे कदमों को जरूरी बताया। उन्होंने कहा कि सिक्किम को ऑर्गेनिक फूड और एग्रो-स्टार्टअप्स के ग्लोबल हब के रूप में स्थापित किया जाएगा।
उन्होंने 2047 तक सिक्किम को विश्व मंच पर एक विकसित, समृद्ध और सशक्त राज्य के रूप में स्थापित करने का संकल्प दिलाया और सभी नागरिकों से अगले 25 वर्षों को समर्पित करने का आग्रह किया।
इस अवसर पर सिक्किम के राज्यपाल ओम प्रकाश माथुर और मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग समेत कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। प्रधानमंत्री ने सिक्किम की सांस्कृतिक विरासत, प्राकृतिक सौंदर्य और जनशक्ति की सराहना करते हुए कहा कि यह स्वर्ण जयंती अवसर, राज्य की विकास यात्रा को नई ऊंचाइयों तक ले जाएगा।