एक स्वस्थ राष्ट्र ही वास्तव में एक विकसित राष्ट्र हो सकता हैः अनुप्रिया पटेल
नई दिल्ली, 24 जुलाई । केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा रसायन एवं उर्वरक राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल ने कहा कि एक स्वस्थ राष्ट्र ही वास्तव में एक विकसित राष्ट्र हो सकता है। स्वस्थ भारत और सभी के लिए स्वास्थ्य केवल नारे नहीं हैं बल्कि सरकार की प्रतिबद्धता और एक साझा दृष्टिकोण, सभी हितधारकों का एक सामूहिक एजेंडा है। स्वास्थ्य में निवेश एक विकसित भारत के लिए सबसे बड़े निवेशों में से एक है।
केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल ने गुरुवार को लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज (एलएचएमसी) के दीक्षांत समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि यह मेडिकल कॉलेज महिला सशक्तिकरण के लिए खड़ा रहा है और राष्ट्र के विकास में अभूतपूर्व योगदान दिया है। एलएचएमसी देश के सबसे पुराने चिकित्सा संस्थानों में से एक होने के नाते एक विशिष्ट स्थान रखता है, जो कनॉट प्लेस, संसद भवन और राष्ट्रपति भवन जैसे ऐतिहासिक स्थलों से भी पुराना है।
उन्होंने कहा कि पिछले 110 वर्षों में, कॉलेज का विकास हुआ है। एलएचएमसी ने महिला सशक्तिकरण पर ध्यान केंद्रित करते हुए अपनी अनूठी पहचान बनाए रखी है, जिसमें एमबीबीएस में सभी छात्राओं को प्रवेश दिया जाता है और स्नातकोत्तर तथा विशिष्ट पाठ्यक्रमों के माध्यम से लैंगिक समानता में योगदान दिया जाता है। पटेल ने कहा कि “एबी पीएम-जेएवाई दुनिया की सबसे बड़ी स्वास्थ्य आश्वासन योजना है जो 55 करोड़ लोगों, कुल आबादी के 40 प्रतिशत अग्रिम पंक्ति के स्वास्थ्य कर्मियों और 70 वर्ष से अधिक आयु के वरिष्ठ नागरिकों की स्वास्थ्य संबंधी ज़रूरतों को पूरा करती है। जन औषधि केंद्रों के माध्यम से रियायती कीमतों पर गुणवत्तापूर्ण दवाओं तक पहुंच सुनिश्चित की जा रही है। सामूहिक रूप से, सरकार की पहलों से नागरिकों के स्वास्थ्य सेवा पर होने वाले खर्च में उल्लेखनीय कमी आई है।
उन्होंने कोविड-19 महामारी के दौरान भारत की त्वरित और मज़बूत प्रतिक्रिया पर भी ज़ोर दिया और कहा कि भारत ने सबसे तेज़ और सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान चलाकर और कोविड टीकों की 220 करोड़ से ज़्यादा खुराकें लगाकर एक मिसाल कायम की है।
दीक्षांत समारोह में 600 से अधिक छात्रों ने एमबीबीएस, एमडी, एमएस, एमडीएस और डीएम, एमसीएच की उपाधियां प्राप्त कीं। इस अवसर पर लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज की वर्ष 2024 की वार्षिक रिपोर्ट और एलएचएमसी की एंटीबायोटिक्स नीति का भी विमोचन किया गया।
इस अवसर पर लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज की निदेशक डॉ. सरिता बेरी, एलएचएमसी की प्राचार्य डॉ. अंजू सेठ, भारत सरकार के वरिष्ठ अधिकारी, दिल्ली-एनसीआर के केंद्र सरकार के अस्पतालों और मेडिकल कॉलेजों के संस्थानों के प्रमुख भी उपस्थित रहे।